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कोल्हान और संथाल तय करेगा झारखंड का सियासी भविष्य
DASTAKTIMES
|November 2024
कोल्हान क्षेत्र की जनता इस बार कई बड़ी हस्तियों का सियासी भविष्य भी तय करेगी। पूर्व मुख्यमंत्री चंपाई सोरेन इसके सबसे बड़े नजीर होंगे। पूर्णिमा दास साहू की जमशेदपुर पूर्वी सीट से जीत-हार सीधे उड़ीसा के राज्यपाल रघुवर दास की राजनीति पर असर पड़ेगा। वहीं पोटका से पूर्व सीएम अर्जुन मुंडा की पत्नी मीरा मुंडा की लड़ाई दोनों की जमीनी पकड़ परखेगी। सबसे दिलचस्प नजारा जमशेदपुर पश्चिम में दिखेगा यहां सरयू राय और मंत्री बना गुप्ता मैदान में हैं।

झारखंड में विधानसभा चुनाव का परिणाम 23 नवंबर को आ जाएगा। जीत का सेहरा किसके सिर पर सजेगा, यह उसी दिन तय हो जाएगा। इन सबके बीच एनडीए और इंडिया में सीट शेयरिंग का फॉर्मूला भी तय हो गया है। दोनों ओर से बड़े-बड़े नेता मैदान में उतर गए हैं। सत्तापक्ष और विपक्ष की ओर से घोषणा पत्र जारी कर दिया गया है। बड़े-बड़े वादे किये गये हैं। जनता को लुभाने के लिए हरसंभव कोशिश की जा रही है। इसके साथ ही आरोप-प्रत्यारोप का दौर भी तेज हो गया है। बहरहाल, चुनावी रण में जीत किस खेमे की होगी यह जमीन पर नेताओं की पकड़, सियासी समीकरण, मुद्दों के आधार पर ही होगा, यह भी तय है। जहां तक बात सियासी समीकरण है तो इस बार भी विधानसभा चुनाव में संथाल और कोल्हान प्रमंडल के अंतर्गत आने वाली सीटों से ही जीत और हार तय होगा।
अगर बात कोल्हान प्रमंडल की जाय तो कोल्हान में मुंडा, संथाल, हो भूमिज और अन्य छोटी-छोटी जनजातियों की जमीन है। इस भूगोल में पूर्वी सिंहभूम, पश्चिमी सिंहभूम और सरायकेला-खरसावां जिले हैं, जिसमें विधानसभा की 24 सीटें हैं।

This story is from the November 2024 edition of DASTAKTIMES.
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