Try GOLD - Free
जमानत पर हैं तो क्यों नहीं जा सकते विदेश
Sarita
|May Second 2025
किसी आरोपी को जमानत पर रिहा किए जाने पर अदालत कुछ शर्तें लगा सकती है, जैसे विदेश यात्रा पर जाने के लिए अदालत से अनुमति लेना वगैरह लेकिन सवाल यह है कि अदालत जब यात्रा के अधिकार को व्यक्तिगत आजादी का हिस्सा मानती है तो जमानत मिलने के बाद विदेश जाने पर रोक क्यों?
आदित्य मूर्ति उत्तर प्रदेश के बरेली जिले में श्रीराम मूर्ति स्मारक आयुर्विज्ञान संस्थान में एडवाइजर हैं. वे एक दशक से अधिक समय से सीबीआई मामले में मुकदमे का सामना कर रहे हैं. कोर्ट ने उनको जमानत दे रखी है. 22 मई, 2025 को आदित्य मूर्ति को अपने रिश्तेदार की शादी के लिए अमेरिका और उसके बाद शादी समारोह में हिस्सा लेने के लिए 3 मई से 22 मई, 2025 तक फ्रांस जाना चाहते थे. जमानत पर होने के कारण विदेश यात्रा करने के पहले उनको कोर्ट से आज्ञा लेनी है. आदित्य मूर्ति ने इसकी एक अपील इलाहाबाद हाईकोर्ट में दाखिल की.
न्यायमूर्ति सुभाष विद्यार्थी ने श्रीराम मूर्ति स्मारक आयुर्विज्ञान संस्थान, बरेली के परामर्शदाता आदित्य मूर्ति की याचिका को खारिज करते फैसला सुनाया कि विदेश में रिश्तेदार की शादी और दूसरे देश की मौजमस्ती के लिए यात्रा करना विचाराधीन आरोपी के लिए अंतर्राष्ट्रीय यात्रा करने के लिए आवश्यक कारण नहीं माना जाता. जमानत पर रिहा किए गए आरोपी व्यक्ति को चिकित्सा उपचार, आवश्यक आधिकारिक कर्तव्यों में शामिल होने और इसी तरह की किसी जरूरी आवश्यकता के लिए विदेश यात्रा की अनुमति दी जा सकती है.
उच्च न्यायालय ने स्पष्ट रूप से कहा कि रिश्तेदार के विवाह समारोह में शामिल होना जरूरी आवश्यकता नहीं है. इसके अलावा, न्यायालय ने याचिकाकर्ता के इस तर्क पर भी ध्यान दिया कि उसे पहले गैरआवश्यक उद्देश्यों के लिए विदेश यात्रा की अनुमति दी गई थी. पीठ ने कहा, 'केवल इसलिए कि अधीनस्थ अदालत ने आवेदक को कई मौकों पर गैरआवश्यक उद्देश्यों के लिए विदेश यात्रा की अनुमति दी थी, उसे इस बार भी गैरआवश्यक उद्देश्यों के लिए विदेश यात्रा करने का अधिकार नहीं है, जब मुकदमा बचाव पक्ष के साक्ष्य के चरण में पहुंच गया है.'
आदित्य मूर्ति ने 24 अप्रैल, 2025 को विशेष सीबीआई अदालत के आदेश को चुनौती दी थी, जिस ने विदेश यात्रा के लिए उन के आवेदन को खारिज कर दिया था. आदित्य मूर्ति एक दशक से अधिक समय से सीबीआई कोर्ट में एक मामले में मुकदमे का सामना कर रहे हैं.
कानून में बदलाव की जरूरत
This story is from the May Second 2025 edition of Sarita.
Subscribe to Magzter GOLD to access thousands of curated premium stories, and 10,000+ magazines and newspapers.
Already a subscriber? Sign In
MORE STORIES FROM Sarita
Sarita
पति की मनमानी कब तक करें बरदाश्त
पति और पत्नी का रिश्ता निहायत ही लोकतांत्रिक होता है जिस में किसी एक की भी मनमानी रिश्ते में खटास घोल सकती है और उसे तोड़ भी सकती है.
10 mins
November Second 2025
Sarita
किचन में खाना ही नहीं बल्कि प्यार भी पकाएं
किचन में रोमांस का मजा तब आता है जब पति कुकिंग में पत्नी का हाथ बंटाए. आजकल के कपल्स किचन में रोमांस करने से नहीं हिचकते. किचन रोमांस को कैसे बेहतर बनाया जा सकता है. आइए जानें.
5 mins
November Second 2025
Sarita
दौड़ते पहियों पर जलती चिताएं
देश के हाइवे डेथवे बन चुके हैं. आएदिन उन पर होते भयंकर हादसों में कई लोग अपनी जानें गंवा रहे हैं. सवाल यह कि इन हादसों को रोकने के लिए क्या जरूरी कदम उठाए जा रहे हैं?
6 mins
November Second 2025
Sarita
समझदारी से खाएं बुद्धिमान कहलाएं
आप क्या खाते हैं, आप की लाइफस्टाइल कैसी है, आप की उम्र क्या है, आप के शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य व सोचने से ले कर आप के महसूस करने तक आप को जो प्रभावित करता है वह है आप का खाना यानी आप के पोषण संबंधी विकल्प, जो पेट और मस्तिष्क के स्वास्थ्य को बेहतर करते हैं.
4 mins
November Second 2025
Sarita
औडिशन के नाम पर अपहरण मातापिता के लालच पर उठते सवाल
मुंबई के आर ए स्टूडियो में ऑडिशन के नाम पर 17 बच्चों का अपहरण किया जाना सिर्फ एक आपराधिक घटना ही नहीं है बल्कि इस ने मातापिता, सिस्टम और फिल्म इंडस्ट्री की ऑडिशन प्रक्रिया पर गहरे सवाल खड़े कर दिए हैं.
8 mins
November Second 2025
Sarita
पलायन की त्रासदी क्यों झेल रहे हैं कुछ खास राज्य
बिहार के विधानसभा चुनाव में हर बार की तरह इस बार भी पलायन का मुद्दा गायब रहा.
14 mins
November Second 2025
Sarita
शादी में बढ़ रहा दिखावे का चलन
भव्य शादियों के इस दौर में प्यार से ज्यादा दिखावा बड़ा प्रतीक बन गया है. लोग रिश्तों से ज्यादा रुतबा बचाने में जुटे हैं. लोन ले कर, पूंजी गंवा कर, समाज को प्रभावित करने के मोह में डूब कर जब शादी का मतलब प्रतिस्पर्धा में बदल जाए तो क्या वाकई वह जश्न कहलाने लायक रह जाता है?
10 mins
November Second 2025
Sarita
फोन
पति का प्रेम भी बड़ा अनोखा होता है, जब तक पत्नी उस की सेवा करे तब तक संस्कारी. वहीं अगर पत्नी अपने लिए थोड़ा जी तो तोबातोबा. नीरजा को लग रहा था जैसे जीजाजी ने सुमिता जीजी पर अपना कॉपीराइट लगा दिया है.
8 mins
November Second 2025
Sarita
कुरसी से इस्तीफा
राजनीति भी क्या अजीब नखरे वाली प्रेमिका है. जो दिल से चाहो, वही धोखा दे जाती है. यहां इमोशन नहीं, इलैक्शन चलते हैं.
2 mins
November Second 2025
Sarita
कट्टरता के उफान पर सैक्युलर इंडिया
मुसलमान अपने धर्म को ले कर सड़कों पर हैं तो हिंदू भी अपनी आस्थाओं के नाम पर सड़कों पर तांडव कर रहे हैं. सैक्युलर देश में सैक्युलर होना गाली बन गया है. आस्था अपनी जगह है. सभी को अपनी आस्था के साथ जीने का हक है. भारत का संविधान भी धार्मिक आजादी की बात करता है लेकिन धार्मिक आजादी के नाम पर देशभर में यह कैसा तमाशा चल रहा है?
7 mins
November Second 2025
Listen
Translate
Change font size
