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Religious-Spiritual

Jyotish Sagar

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श्रीगुरुगीता (भाग-18)

सद्गुरु के निवास से न केवल वह आश्रम या पीठ ही शुद्ध या पवित्र होती है, वरन् वह सम्पूर्ण प्रदेश भी पवित्र और ऊर्जावान् बन जाता है।

4 min  |

April-2023
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और उस योगी ने मृत चिड़िया को जीवित कर दिया....

मन और मस्तिष्क की शक्ति अपरम्पार है। मन की गति अति तीव्र होती है; प्रकाश की गति से भी तीव्र।

4 min  |

April-2023
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अन्य ग्रहों पर जीवन की सम्भावना!

आकाशगंगा

5 min  |

April-2023
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शुक्र और शनि के फल

कैसे करें सटीक फलादेश (भाग-189) कुम्भ लग्न के अष्टम भाव में स्थित

9 min  |

April-2023
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शंकर के अंशावतार आदि गुरु शंकराचार्य

आद्यगुरु श्री शंकराचार्य जयन्ती (25 अप्रैल, 2023) पर विशेष

6 min  |

April-2023
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पुण्यपर्व अक्षया तृतीया शास्त्रीय और लौकिक महत्त्व

हमारे देश के पर्वों और उत्सवों में से कुछ तो ऋतु पर्व हैं, जिनमें नई फसल पकने का आमोदप्रमोद और ऋतु परिवर्तन का उल्लास रचा-बसा होता है।

7 min  |

April-2023
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भगवान् विष्णु के आवेशावतार भगवान् परशुराम

सप्तम भाव में सूर्य भी उच्च राशिगत होकर स्थित है। इस प्रकार चारों ही केन्द्र भाव में उच्चस्थ ग्रह हैं। इस ग्रह स्थिति के फलस्वरूप परशुराम जी की जन्मपत्रिका में कमल नामक श्रेष्ठ योग निर्मित हो रहा है। इन ग्रहों की श्रेष्ठ परिस्थिति के कारण ही परशुराम जी इतने पराक्रमी एवं बलशाली हुए। इन्हीं ग्रह स्थितियों के फलस्वरूप उन्होंने 21 बार पृथ्वी को क्षत्रिय विहीन कर दिया था।

3 min  |

April-2023
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छत्रपति शिवाजी सूर्य, शनि और गुरु ने बनाया मराठा सरताज

लग्नेश की लग्न पर दृष्टि तथा गुरु की भी लग्न पर दृष्टि होने से शिवाजी इतने बलिष्ठ तथा पराक्रमी देह वाले और प्रसिद्ध थे। षष्ठेश एवं सप्तमेश शनि के तृतीय भाव में उच्च का होने के कारण शिवाजी ने सभी शत्रुओं का दमन किया। तृतीयेश शुक्र की अपने भाव पर दृष्टि से वे महान् पराक्रमी हुए।

4 min  |

April-2023
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कुण्डली का प्रत्येक भाव कुछ बोलता है

यह स्थान व्यापार और कर्म से जो लाभ होता है, उससे सम्बन्धित है। ठेकेदारी, बड़ा भाई, आभूषण, दामाद, बहू, लाभ, चोट, पिण्डली आदि का विचार किया जाता है।

3 min  |

April-2023
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गुरु-चाण्डाल योग की व्याख्या

गुरु-चाण्डाल योग में विच्छेदात्मक पापग्रह राहु गुरु के नैसर्गिक कारकत्व और शुभ फलों को नष्ट-भ्रष्ट कर देता है।

5 min  |

April-2023
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कुण्डली में गुरु-केतु के सम्बन्ध से होता है सर्वाधिक विकास

नवग्रहों के परिवार में केतु नौवाँ ग्रह है। यह यद्यपि राहु की तरह छाया ग्रह है, लेकिन इसके स्वतंत्र परिणाम भी अनुभव में आते हैं।

5 min  |

April-2023
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कब और कितना प्रभावी है गुरुचाण्डाल योग?

जीवे सकेतौ यदि वा सराहौ चाण्डालता पापनिरीक्षिते चेत् ।

7 min  |

April-2023
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होलिका दहन शास्त्रीय विधान

ज्योतिष की दृष्टि से होलिका दहन शासक और शासित दोनों को प्रभावित करता है। प्रतिपदा, चतुर्दशी में दिन के समय और भद्रा के समय होलिका दहन करना अनिष्टकारक है। यह सम्पूर्ण राष्ट्र को हानिकारक है।

2 min  |

March 2023
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आरोग्य की देवी शीतला माता

सुरभि महीने में अष्टमी व्रत और पराशक्ति शीतला माता की पूजा-आराधना अत्यधिक महत्त्वपूर्ण है। सुरभि महीने में चैत्र तथा वैशाख दोनों महीने आते हैं। ये दोनों महीने बसन्त ऋतु में समाविष्ट हैं।

2 min  |

March 2023
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ऊजाप्रदायक दुर्गापूजा!

इसके विधिविधान से अनुष्ठान करने से लौकिक एवं पारलौकिक सिद्धियाँ मिलती हैं। इसके स्वाध्याय से मनमस्तिष्क ऊर्जावान् होते हैं। इसके बीजमन्त्रों में 'ऐं, क्लीं, हीं, श्रीँ अक्षर आवश्यक हैं। प्रकृति की त्रिगुणात्मक शक्ति (सत, रज और तम) 'दुर्गा' में समाहित हैं। दुर्गा की आराधना से मूलाधार चक्र को शक्ति प्राप्त होती है।

3 min  |

March 2023
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देवों से ऊपर है माता का स्थान

प्राचीन काल में सुदूर दक्षिण में एक बड़े भू-भाग पर भारशिवों का एक सुगठित राज्य था। भारशिव शैव थे। वे हमेशा शिव-विग्रह रखते थे। इसी शिव-विग्रह को ढोने के कारण वे 'भारशिव' कहलाए। इनका राज्य बहुत ही शक्तिशाली एवं समृद्ध था।

5 min  |

March 2023
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उच्च ग्रह, नीच ग्रह एवं अस्तंगत ग्रह !

भारतीय ज्योतिष में नौ ग्रह बताए गए हैं। इसमें दो छाया ग्रह हैं। सूर्य, चन्द्रमा, मंगल, बुध, गुरु, शुक्र एवं शनि ग्रह हैं, जो आकाशीय मण्डल में दृष्टमान हैं।

9 min  |

March 2023
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उत्तराखण्ड का लोकपर्व फूल संक्रान्ति

नवसंवत्सर पर विशेष

2 min  |

March 2023
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मेरुदण्ड की शिराओं को नवचेतना देते हैं योगासन

योगासन का उद्देश्य है 'स्वस्थ तन और प्रसन्न मन ।' इनका नित्य अभ्यास करने पर शरीर का प्रत्येक अंग स्वस्थ होता है और साधक प्रसन्नचित्त होता है। प्रस्तुत आलेख में दो प्रमुख आसनों यथा; पादहस्तासन और शीर्षासन का वर्णन किया जा रहा है। पादहस्तासन जहाँ मेरुदण्ड की जड़ता को कम करते हुए उसे नवचेतना प्रदान करता है, तो वहीं वह हृदय की धड़कन को सामान्य करता है और मनोरोगों में भी लाभप्रद होता है। जहाँ तक शीर्षासन का प्रश्न है, तो वह मस्तिष्क एवं तंत्रिका तंत्र से सम्बन्धित रोगों में अत्यन्त लाभकारी है।

4 min  |

March 2023
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दस महाविद्या शाबर साधना

करें सम्पूर्ण सफलता सिद्धि हेतु

7 min  |

March 2023
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जानें कब है आपके शहर में घट स्थापना मुहूर्त ?

22 से हैं बासन्तीय नवरात्र

1 min  |

March 2023
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दो दिन है होली! जानें कब है आपके यहाँ ?

होली का पर्व प्रदोषकालीन फाल्गुन शुक्ल पूर्णिमा के दिन मनाया जाता है। इस वर्ष फाल्गुन पूर्णिमा सोमवार 6 मार्च, 2023 को 16:18 से आरम्भ होकर 07 मार्च, 2023 मंगलवार को 18:10 तक रहेगी।

3 min  |

March 2023
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मनीषी और सादगी पसन्द डॉ. राजेन्द्र प्रसाद

स्वाधीनता आन्दोलन के दौरान गुलामी की जंजीरें तोड़ने के जुनून में लाखों लोगों ने जीवन की सारी सुखसुविधाओं को तिलांजलि दे दी थी।

2 min  |

February 2023
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मानव कल्याण के अग्रदूत स्वामी दयानन्द

उपनिषदों में अंधकार के पार देखने वाले व्यक्ति को 'स्कन्द' और 'ऋषि' की संज्ञा दी गई है।

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February 2023
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हस्तरेखाओं से जानें सफल प्रेम विवाह के अचूक योग

भाग्य केवल धर्म के वश में ही हो सकता है। दर्शनशास्त्र भी यही कहता है कि भाग्य धर्म के अधीन है। यानि धर्म बढ़ने पर धर्म भाग्य से आपकी रक्षा स्वत: ही करने लगता है।

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February 2023
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समस्थिति और वृक्षासन पैरों की मांसपेशियों को बनाता है मजबूत

योगासन एक कदम स्वास्थ्य की ओर

2 min  |

February 2023
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शिवलिंग का वैज्ञानिक और आध्यात्मिक रहस्य

महाशिवरात्रि पर विशेष

6 min  |

February 2023
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शिवोपासना की प्राचीनता

केदारनाथ धाम में भगवान् शिव के दर्शन करने से व्यक्ति को मुक्ति मिलती है। यह भी कहा गया है कि भगवान् शिव के बारह ज्योर्तिलिंग में से किसी एक ज्योर्तिलिंग का पूजन जो श्रद्धापूर्वक करता है, उसे मृत्यु के उपरान्त मोक्ष प्राप्त होता है। साथ ही दैहिक, दैविक और भौतिक कष्टों से छुटकारा मिल जाता है।

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February 2023
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कैसे करें महामृत्युंजय मन्त्र साधना और प्रयोग

महाशिवरात्रि पर विशेष

9 min  |

February 2023
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चेतना की रात्रि है शिवरात्रि

शिवरात्रि बोधरात्रि इसीलिए है कि वह साधक को सच्चे शिव की खोज और संकट निवृत्ति, मुक्तिप्राप्ति के साधनों की तलाश में प्रवृत्त कराती है और इस खोज के दौरान साधक को ज्ञात होता है कि सच्चे शिव को जानने का संकल्प सतत साधना से ही पूरा होता है।

8 min  |

February 2023