केजरीवाल अंदर आप पर आफत
India Today Hindi|April 10, 2024
आम आदमी पार्टी के मुखिया अपनी पार्टी के भविष्य की धुरी हैं. दिल्ली शराब घोटाले में अरविंद केजरीवाल की गिरफ्तारी उनके लोकसभा चुनाव अभियान को अस्त-व्यस्त कर सकती है और यहां तक कि पार्टी के भीतर भी अस्तित्व का संकट खड़ा कर सकती है
कौशिक डेका
केजरीवाल अंदर आप पर आफत

बात 2011 की है जब इंडिया अगेंस्ट करप्शन (आइएसी) आंदोलन के दौरान अरविंद केजरीवाल देश भर में मशहूर हो गए. कथित तौर पर आरएसएस-भाजपा समर्थित इस आंदोलन ने रिश्वतखोरी के खिलाफ जनता के गुस्से को उस समय आवाज दी जब कांग्रेस के नेतृत्व वाली संयुक्त प्रगतिशील गठबंधन (यूपीए) सरकार कई तरह के घोटाले के आरोपों से जूझ रही थी. सामाजिक कार्यकर्ता अण्णा हजारे उस आंदोलन का प्रमुख चेहरा थे लेकिन अगले साल तक केजरीवाल ने राजनेताओं के खिलाफ जनता की नफरत को आम आदमी पार्टी (आप) के रूप में नए संगठन की शक्ल दे दी. उसका चुनाव चिह्न झाड़ था जो भारतीय राजनीति की सफाई के इरादे का सटीक प्रतीक था और राजधानी के निराश मतदाताओं की व्यापक आवाज था.

अगर देश में कांग्रेस के पतन के कारणों में आइएसी एक कारण था तो आप ने दिल्ली में कांग्रेस पार्टी का इस अपील के साथ सफाया कर दिया कि तब की मुख्यमंत्री शीला दीक्षित को भ्रष्टाचार में कथित तौर पर शामिल होने के आरोप में जेल भेजा जाए. लेकिन एक दशक बाद राजनीति के उलटफेर में केजरीवाल के खुद के सफर ने अजीब मोड़ ले लिया. दो बार के दिल्ली के मुख्यमंत्री खुद भ्रष्टाचार के आरोपों में घिर गए और गिरफ्तार हो गए. उनके साथ आप के तीन बड़े नेता भी गिरफ्तार हैं जिनमें उप-मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया भी शामिल हैं.

यह विडंबना यहीं खत्म नहीं हुई. 21 मार्च को जब प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने दिल्ली शराब घोटाले में कथित भूमिका के लिए केजरीवाल को धन शोधन रोकथाम अधिनियम (पीएमएलए) 2002, के तहत गिरफ्तार किया तो उनके साथ एकजुटता दिखाने के लिए उनके घर पहुंचने वाले नेताओं में दिवंगत शीला दीक्षित के पुत्र, कांग्रेस के नेता संदीप दीक्षित भी थे. असल में, समूची कांग्रेस के बड़े नेता उनके समर्थन में आए और उनकी गिरफ्तारी को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली भाजपा सरकार की ओर से लोकतंत्र पर हमला बताया. कांग्रेस ने ही पहली बार जून 2022 में, दिल्ली पुलिस आयुक्त को पत्र लिखकर आप सरकार के शराब लाइसेंस के अवैध वितरण में 'करोड़ों के घोटाले' की जांच की मांग की थी.

هذه القصة مأخوذة من طبعة April 10, 2024 من India Today Hindi.

ابدأ النسخة التجريبية المجانية من Magzter GOLD لمدة 7 أيام للوصول إلى آلاف القصص المتميزة المنسقة وأكثر من 8500 مجلة وصحيفة.

هذه القصة مأخوذة من طبعة April 10, 2024 من India Today Hindi.

ابدأ النسخة التجريبية المجانية من Magzter GOLD لمدة 7 أيام للوصول إلى آلاف القصص المتميزة المنسقة وأكثر من 8500 مجلة وصحيفة.

المزيد من القصص من INDIA TODAY HINDI مشاهدة الكل
फिर आ गया हूं मैं
India Today Hindi

फिर आ गया हूं मैं

फिल्म टिप्सी के जरिए सनसनीखेज वापसी करने के साथ दीपक तिजोरी कई और नए प्रोजेक्ट्स के जरिए अपने लिए नए-नए मुकाम बनाने की राह पर

time-read
1 min  |
June 05, 2024
चुनौतियों के बीच नया चेहरा
India Today Hindi

चुनौतियों के बीच नया चेहरा

क्लासिक, म्यूजिकल, रियलिस्टिक नाटकों के नियमित शो; दूरदराज की आंचलिक जमीन से आए ताजगी से भरे कलाकार; और महत्वाकांक्षी प्लानिंग. देश के इस राष्ट्रीय रंगमंडल ने बढ़ी हलचलों से जगाई उम्मीद

time-read
4 mins  |
June 05, 2024
परचम लहराती सरपंच
India Today Hindi

परचम लहराती सरपंच

राजस्थान की उस सरपंच की कहानी जिसने अलग सोच, हौसले और मेहनत के बलबूते खेत से संयुक्त राष्ट्र तक लहराया परचम

time-read
5 mins  |
June 05, 2024
सेना की गोरखा गुत्थी
India Today Hindi

सेना की गोरखा गुत्थी

कोरोना महामारी और अग्निपथ योजना के नेपाली विरोध से भारतीय सेना में गोरखा भर्ती थमी, गोरखा फौजियों की घटती संख्या देश के लिए रणनीतिक चिंता का विषय, खासकर इन अटकलों से कि इन लाजवाब लड़ाकुओं पर चीन की भी नजर है

time-read
7 mins  |
June 05, 2024
वोटों की फसल, किसानों पर नजर
India Today Hindi

वोटों की फसल, किसानों पर नजर

उत्तरी राज्यों में पसरे कृषि संकट के बीच किसानों में अपनी पैठ बनाने के लिए भाजपा ने व्यावहारिक नजरिया अपनाया, तो विपक्ष भी भारत के इस सबसे बड़े मतदाता तबके को रिझाने की जुगत में

time-read
7 mins  |
June 05, 2024
पीले बालू के लिए लाल होती सोन नदी
India Today Hindi

पीले बालू के लिए लाल होती सोन नदी

बिहार में आखिरी चरण के चुनाव में चार सीटों का जुड़ाव कहीं न कहीं सोन नद से है. मगर अंधाधुंध रेत खनन, बराज पर गाद का जमाव और इनकी वजह से लोगों की आजीविका, खेती और दूसरे संकटों के सवाल पर इस चुनाव में कोई चर्चा नहीं

time-read
5 mins  |
June 05, 2024
"बाल-बच्चा पियासल रहेगा तो पीएम-सीएम बनाने का क्या फैदा"
India Today Hindi

"बाल-बच्चा पियासल रहेगा तो पीएम-सीएम बनाने का क्या फैदा"

कैमूर जिले के अधौरा पहाड़ पर बसे 108 गांवों में महिलाएं आज भी पानी ढोकर ला रहीं. सोलर बिजली भी कुछेक घरों में चंद घंटे के लिए. मोबाइल नेटवर्क तो ईश्वर को तलाशने जैसा

time-read
5 mins  |
June 05, 2024
तिलों में बाकी तेल है कितना
India Today Hindi

तिलों में बाकी तेल है कितना

उत्तर प्रदेश में छठे और सातवें चरण का लोकसभा पूर्वी यूपी में पिछड़ी जाति के कई दिग्गज नेताओं का कद तय करने जा रहा

time-read
6 mins  |
June 05, 2024
जी जान से सुक्खू का अभियान
India Today Hindi

जी जान से सुक्खू का अभियान

लगातार दो जीत के घोड़े पर सवार भाजपा को हिमाचल में मोदी मैजिक पर भरोसा है. मुश्किलें झेल रहे मुख्यमंत्री के नेतृत्व में गुटबाजी की शिकार कांग्रेस की उम्मीद 2022 के विधानसभा चुनाव की जीत पर टिकी है

time-read
6 mins  |
June 05, 2024
आखिर क्यों महत्वपूर्ण हैं आदिवासी वोट
India Today Hindi

आखिर क्यों महत्वपूर्ण हैं आदिवासी वोट

देशभर में आदिवासियों के लिए सुरक्षित लोकसभा की 47 सीटें पीएम मोदी के 400 पार अभियान के लिहाज से बेहद महत्वपूर्ण लेकिन 2019 के मुकाबले इस बार इन्हें जीतना शायद उतना आसान नहीं

time-read
9 mins  |
June 05, 2024