तमसा नदी के किनारे बसे आजमगढ़ जिले से अयोध्या को जाने वाली सड़क पर करीब 15 किलोमीटर दूर मौजूद मंदुरी हवाई पट्टी ने 14 जुलाई, 2018 को पहली बार प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अगवानी की थी. तब मोदी मंदुरी हवाई पट्टी पर आयोजित पूर्वांचल एक्सप्रेसवे का शिलान्यास करने आए थे. 2019 के लोकसभा चुनाव से पहले मोदी ने आजमगढ़ से पूरे पूर्वांचल को विकास का सपना दिखाकर साधने की कोशिश की थी. हालांकि 2019 के लोकसभा चुनाव में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने पूर्वांचल की 25 में से 20 सीटों पर जीत हासिल की थी लेकिन आजमगढ़ में उसे बुरी हार का सामना करना पड़ा था.
एक बार फिर लोकसभा चुनाव के ठीक पहले 10 मार्च को प्रधानमंत्री मोदी उसी मंदुरी इलाके में पहुंचे जहां से पिछली बार उन्होंने पूर्वांचल में चुनावी बिगुल फूंका था. इस बार मंदुरी हवाई पट्टी ने एयरपोर्ट की शक्ल ले ली. 11 मार्च को पहली बार दोपहर सवा बारह बजे यहां से 19 यात्रियों को लेकर एक हवाई जहाज ने लखनऊ के लिए उड़ान भरी. प्रधानमंत्री ने लोकसभा चुनाव में भगवा खेमे को कुछ ऐसी ही उड़ान देने के लिए आजमगढ़ के मंदुरी हवाई अड्डे और राजा सुहेलदेव के नाम पर एक विश्वविद्यालय सहित 34,700 करोड़ रुपए की 782 योजनाओं का अनावरण किया. इस दफा मोदी ने आजमगढ़ से पूर्वांचल ही नहीं, देश के कई जिलों की विकास परियोजनाओं का लोकार्पण और शिलान्यास करके इस जिले की बदलती तस्वीर को दुनिया के सामने रखने की कोशिश की.
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